Uttar Pradesh: घर में मजार, ओम का निशान उल्टा! बिजनेस में हुआ घाटा तो कारोबारी ने परिवार को कैद में रखा 3 साल


चित्रकूट

उत्तर प्रदेश के चित्रकूट से हैरान करने वाली और दिल दहला देने वाली खबर सामने आई है. यहां एक कारोबारी ने अपने ही बच्चों को घर में कैद कर रखा था। यह स्थिति आज से नहीं, बल्कि पिछले तीन साल से थी। इससे उसकी पत्नी और बच्चों की मानसिक स्थिति बिगड़ गई थी। सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची चाइल्ड लाइन व पुलिस कर्मियों ने ताला तोड़कर दोनों को छुड़ाया और इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया. पुलिस के मुताबिक संभवत: कारोबारी कोई काला जादू कर रहा था। इसके लिए उसने घर के एक कमरे में मजार बना ली थी और उसके ठीक बीच में चाकू गाड़ दिया था।

इसी तरह इस कमरे की दीवारों पर ॐ का उल्टा चिन्ह बनाया गया था। मामला कर्वी कोतवाली के तरून्हा कस्बे का है। पुलिस ने बताया कि यहां कस्बे में व्यवसायी काशी केशरवानी अपने परिवार के साथ रहता है। हाल ही में वह अपनी बहन के घर गया था। इसी बीच उसके कुछ रिश्तेदार उसके घर पहुंचे तो पता चला कि घर के बाहर ताला लगा हुआ है। जबकि अंदर से कुछ हलचल सुनाई दी। ऐसे में रिश्तेदार ने पड़ोसियों और पड़ोसियों ने पुलिस को सूचना दी. ताला तोडऩे के बाद व्यापारी काशी की पत्नी और बच्चे बदहवास हालत में अंदर दिखे।

दूसरे कमरे में देखने पर पता चला कि वहां एक छोटी सी मजार बनी हुई है, जहां अगरबत्ती जल रही है। मकबरे के ठीक बीचोबीच एक चाकू गड़ा हुआ है और दीवारों पर उल्टे अक्षरों में ॐ लिखा हुआ है। पुलिस ने बताया कि आनन फानन में व्यापारी की पत्नी और बच्चों को बाहर निकाल कर अस्पताल में भर्ती कराया गया. जहां डॉक्टरों की देखरेख में उसका इलाज शुरू कर दिया गया है. पुलिस ने बताया कि जांच के दौरान पता चला है कि कारोबारी ने आज से नहीं बल्कि पिछले तीन साल से अपनी पत्नी और बच्चों को घर में कैद करके रखा हुआ है.

बदहवास हालत में मिले पत्नी व बच्चे 

उन्होंने अपने बच्चों की पढ़ाई छोड़ दी और रोजमर्रा का सामान खरीदने के लिए खुद को घर में बंद कर लिया करते थे। पुलिस ने बताया कि व्यवसायी काशी के घर से उसकी पत्नी के अलावा एक बेटा और एक बेटी मुक्त कराया गया है. तीनों की हालत गंभीर थी और तीनों मानसिक रूप से विक्षिप्त लोगों की तरह व्यवहार कर रहे थे। उसके शरीर को देखकर ऐसा लग रहा था जैसे उसे कई दिनों से खाना भी नहीं मिला हो। तीनों शरीर से काफी कमजोर हो गए थे और ठीक से चल भी नहीं पाते थे। पुलिस ने बताया कि इन तीनों को पहले जिले के ही अस्पताल में भर्ती कराया गया था, लेकिन चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार के बाद इन्हें प्रयागराज के अस्पताल रेफर कर दिया है.

पुलिस को आशंका है कि व्यवसायी काशी खुद मानसिक रूप से विक्षिप्त है और किसी जादू-टोने के प्रभाव में था। वह खुद घर में जादू-टोना कर रहा था। इसके लिए उन्होंने घर के अंदर एक मजार बनवाया था। स्थिति को देखते हुए पुलिस ने उसका इलाज भी शुरू कर दिया है। मनोवैज्ञानिकों की मदद से उनकी काउंसलिंग की जा रही है। इसमें व्यवसायी ने बताया कि लंबे समय से उसके कारोबार में लगातार घाटा हो रहा था। इस नुकसान से उबरने के लिए उन्होंने काफी प्रयास किए, लेकिन सफलता न मिलने पर उन्होंने अपनी गरीबी छुपाने के लिए बच्चों को घर में कैद कर लिया.