Bihar: नेत्रहीन को मिला ड्राइविंग लाइसेंस, ले रहा है दिव्यांग पेंशन की रकम, जानें पूरा मामला


बिहार

बिहार के बक्सर जिले के केसठ प्रखंड के रामपुर गांव में जालसाजी की एक अजीबोगरीब कहानी सामने आई है. किसी ने कभी किसी अंधे व्यक्ति को चौपहिया वाहन चलाते क्यों देखा है। इससे भी बड़ी बात यह है कि क्या डीटीओ किसी दृष्टिहीन व्यक्ति को ड्राइविंग लाइसेंस दे सकता है। दरअसल गांव में गलत तरीके से दृष्टि दोष दिखाकर एक विकलांग व्यक्ति की पेंशन लेने का मामला सामने आया है. इस संबंध में प्रखंड विकास पदाधिकारी मिथिलेश बिहारी वर्मा ने बुधवार को मौके पर पहुंचकर जांच की.

बीडीओ ने बताया कि ग्राम रामपुर निवासी प्रमोद कुमार पाण्डेय पिछले कई वर्षों से दिव्यांग प्रमाण पत्र की पेंशन का लाभ ले रहे हैं. वही ड्राइविंग लाइसेंस परिवहन विभाग द्वारा प्रमोद कुमार पांडेय के नाम से जारी किया गया है. दिव्यांग की राशि का गलत इस्तेमाल कर रहे हैं।

दृष्टि नहीं होने के प्रमाण पत्र के आधार पर ले रहा पेंशन

गुप्त सूचना के आधार पर बीडीओ ने रामपुर जाकर जांच की. लेकिन प्रमोद कुमार पांडेय से नहीं मिले। बीडीओ ने बताया कि शुक्रवार को फिर प्रमोद कुमार पांडेय के घर जाकर मामले की जांच करेंगे. उन्होंने बताया कि सही पाए जाने पर उचित कार्रवाई की जाएगी। ग्रामीणों के अनुसार आपसी विवाद में जालसाजी का मामला सामने आया है. बताया जा रहा है कि वर्ष 2013 से प्रमोद कुमार पांडेय ने दिव्यांग (दृष्टि दोष) से दृष्टि नहीं होने के प्रमाण पत्र के आधार पर पेंशन लेना शुरू कर दिया था. फिर उसने ड्राइविंग लाइसेंस भी बनवा लिया जो 2023 तक वैध है। ऐसे में एक बड़ा सवाल उठ रहा है कि अगर प्रमोद दिव्यांग है तो लाइसेंस कैसे बना, अगर लाइसेंस बना था तो प्रमोद को पेंशन कैसे मिली।

कई जिलों में फर्जी पेंशन लेने के मामले मिले

आपको बता दें कि कई जिलों में फर्जी तरीके से दिव्यांग पेंशन लेने के मामले सामने आ चुके हैं. इन सभी मामलों में जिला प्रशासन द्वारा कड़ी जांच के बाद कार्रवाई की गई है। मामले में अब बताया जा रहा है कि बीडीओ 26 मई को प्रमोद कुमार पांडेय के घर जाकर आरोप की जांच करेंगे. बताया जा रहा है कि जांच के बाद ही मामले की सच्चाई सामने आएगी।