Madhya Pradesh: पत्नी की याद में एक रिटायर्ड शिक्षक ने किया कुछ ऐसा, जानकर चौंक जाएंगे आप


मध्य प्रदेश

मध्य प्रदेश से एक अनोखी खबर सामने आ रही है। अनूठी मिसाल कायम करते हुए बुंदेलखंड के एक सेवानिवृत्त शिक्षक ने अपने जीवन भर की जमा पूंजी मंदिर निर्माण के लिए दान कर दी। बताया जा रहा है कि शख्स ने अपनी पत्नी की याद में राधा-कृष्ण मंदिर बनाए हैं।

पत्नी की याद में मंदिर बनाने का लिया संकल्प 

मध्य प्रदेश के बीपी चनसोरिया ने अपनी पत्नी की मृत्यु के दिन अपनी जीवन भर की कमाई दान करने और छतरपुर में मंदिर बनाने का संकल्प लिया।

मंदिर के निर्माण में 1.5 करोड़ रुपए खर्च किए गए 

चांसोरिया ने एएनआई को बताया कि उन्होंने इसे इसलिए बनवाया क्योंकि उनकी पत्नी हमेशा चित्रकूट में 'राधा कृष्ण' मंदिर चाहती थीं। नवंबर 2016 में पत्नी के देहांत के बाद मैंने संकल्प लिया कि मैं मंदिर बनवाऊंगा। 1.50 करोड़ रुपये की लागत से मंदिर को बनाने में छह साल और सात दिन लगे। राधा कृष्ण की प्रतीक हैं। प्यार जिसे लोग सदियों तक याद रखें। यहां राधा कृष्ण के साथ राधा जी की सखियां ललिता और विशाखा भी विराजमान होंगी। उन्होंने कहा, यह मंदिर 29 मई को समाज को समर्पित होगा। साथ ही मैं युवाओं को यह संदेश भी देना चाहता हूं कि शादी के बाद प्यार ही सबकुछ है। इसलिए छोटी-छोटी बातों पर प्रेम या पत्नी का परित्याग नहीं करना चाहिए।

मंदिर की नक्काशी मुस्लिम कलाकारों ने की 

मंदिर के निर्माण में संगमरमर के पत्थरों का प्रयोग किया गया है। जिसमें खास नक्काशी की गई है, जो इसकी खूबसूरती को और बढ़ा देती है। मंदिर में नक्काशी का काम राजस्थान के कई मुस्लिम कलाकारों ने किया है। जिसमें तीन साल लग गए। चांसोरिया ने बताया कि छह साल तक लगातार काम चला, 2010 में कुछ समय के लिए बंद हुआ, लेकिन फिर शुरू हो गया। आखिरकार सात साल बाद काम पूरा हुआ। एक कलाकार मोहम्मद आसिफ ने एएनआई को बताया कि यह आज की पीढ़ी में 'ताजमहल' जैसा उदाहरण है। कभी शाहजहां ने अपनी दिवंगत पत्नी मुमताज के लिए ताजमहल बनवाया था और आज उन्होंने (बीपी चांसोरिया) अपनी दिवंगत पत्नी के लिए मंदिर बनवाया है.