नालंदा, बिहार
रिपोर्ट : दीपक विश्वकर्मा
बिहारशरीफ की सड़कों पर इन दिनों एक महिला टोटो चलाते दिख रही है। रामचंद्रपुर से रेलवे स्टेशन तो कभी सोह सराय की सड़कों पर यह फर्राटे से टोटो चलाती हैं । दरअसल परबलपुर थाना इलाके के मयुआ गांव की रहने वाली खुशबू कुमारी आर्थिक तंगी से गुजर रही थी और उसने पैसे कमाने के लिए कई जतन किए । जो सार्थक नहीं हुआ तब अंततः कर्ज लेकर इसने टोटो खरीदा और फिर अपने परिवार का भरण पोषण करने लगी।
खुशबू बताती है कि उनके पति गुजरात में ऑटो चलाते हैं। पति के कहने पर वह अपने दो बच्चों को लेकर बिहार शरीफ किराए के मकान में रहकर दोनों को शिक्षा देने के लिए स्कूल में दाखिला करवाया। स्कूल में दाखिला करवाने और किराए का मकान लेने में खुशबू को करीब 30 से 40 हजार रुपये कर्ज के रूप में लेना पड़ा । पति की उतनी कमाई नहीं हो रही थी, जिससे कि वह दोनों बच्चों की पढ़ाई और घर का किराया दे सके। अंततः खुशबू ने बिहार शरीफ की सड़कों पर सब्जी बेचने का फैसला लिया। मगर पूर्व से सब्जी लगाने वाले इसे सब्जी बेचने नहीं दिए। जिससे वह बहुत दुखी हो गई और उसने फैसला लिया कि मैं अब टोटो लूंगी।
उसने महिला समूह से ₹70 हजार एक से ₹35 हजार फिर 31हजार बतौर कर्ज के रूप में लिया फिर इसने टोटो खरीद ली । खुशबू कहती है कि सारा दिन टोटो चलाने पर 4 से ₹500 की आमदनी होती है ।जिससे उसका भरण पोषण हो रहा है ।यही नहीं खुशबू अपने 9 साल के बेटे और साढ़े 7 साल की बेटी को स्कूल छोड़ना और स्कूल से लाने के लिए खुद जाती है। शुक्रवार को भैसासुर चौक पर सदर डीएसपी डॉ शिब्ली नोमानी की नजर इस महिला पर पड़ी और वे गाड़ी से नीचे उतर कर खुशबू से बातचीत की।
खुशबू के हौसले को देखकर डॉ शिब्ली नोमानी ने अपना नंबर इस महिला को दिया और कहा कि अगर किसी प्रकार की कहीं भी कोई परेशानी हो तो आप मुझे फोन कर सकती हैं।उन्होंने इस महिला के हौसले की दाद दी। खुशबू के साथ कितनी भी परेशानियां आई मगर इसने उसका मुकाबला किया यानी सीधे तौर पर कहा जा सकता है कि खुशबू के हौसले को देखकर ऐसी महिलाओं को प्रेरणा लेनी चाहिए जो छोटी मोटी मुसीबतों से घबरा जाती है।