Bihar: पर्यावरण दिवस पर खास! बेटी के जन्म पर फलदार वृक्ष लगाने की अनोखी परंपरा से पूरा गांव है हरा भरा, पर्यावरण संरक्षण को लेकर दे रहा है बहुत बड़ा संदेश



भागलपुर, बिहार 
रिपोर्ट : बालमुकुंद कुमार

जहां एक ओर प्रकृति और वृक्ष को मानव अपने सुख और सुविधा के लिए नष्ट कर रहे हैं, वृक्षों को कटाई कर रहे हैं,  जिसका प्रतिकूल असर भी मानव पे दिख रहा है। वहीं दूसरी ओर नवगछिया अनुमंडल के गोपालपुर प्रखंड के अंतर्गत आदर्श ग्राम धरहरा एक बेटी के जन्म लेने पर 10 फलदार वृक्ष लगाने को लेकर एक मिसाल बन चुकी है। यही कारण है कि सूबे के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार धरहरा गाँव पर्यावरण दिवस पर 3 बार आकर बेटी के नाम पर फलदार वृक्ष भी लगाए हैं। आज इन्ही कारणों से यह गांव किसी पहचान का मोहताज नहीं है। 

बता दें, पहला पौधा 2010 ईस्वी में लवी कुमारी के नाम से लगाया गया था। उसके बाद 2011 में दूसरे वर्ष रिमू राज और तीसरे वर्ष रानी कुमारी के नाम से फलदार वृक्ष लगाये गए थे। उसी समय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पूरे सूबे में वृक्षारोपण अभियान चलाने का भी ऐलान किया था और कहा था कि पूरे बिहार में लोगों को अनोखी परंपरा का अनुकरण करना चाहिए। देश के साथ-साथ विदेशों में भी इस परंपरा के बारे में लोग जानेंगे। 

इतना ही नहीं इस गांव पर मैंगो गर्ल्स नामक एक डॉक्यूमेंट्री शॉर्ट फिल्म भी बनी थी। इस गांव में कई नर्सरी भी है, जहां पर जर्दालू आम सहित अलग-अलग किस्म के पौधे मिलते हैं। दूरदराज के लोग इन पौधों को देखने आते हैं और यहां के कई पौधे ले भी जाते हैं। पहली बार जब मुख्यमंत्री 2010 ईस्वी में धरहरा आए थे। उस समय सौरव सिंह के पुत्री लवी कुमारी जो 2 वर्ष की थी, उसके नाम पर फलदार वृक्ष लगाए गए। वह सभी वृक्ष अब घने और बड़े हो गए हैं। भीषण गर्मी में वहां लोग अब आराम भी करने लगे हैं। साथ ही सभी वृृक्षों में फल भी लगने लगे हैं। 

बताते चलें कि जैसे जैसे वृक्ष बड़ा होते गया, लवी कुमारी भी बढ़ती गई और इस बार 2023 ईस्वी में मैट्रिक की परीक्षा में फर्स्ट डिवीजन कर 81 प्रतिशत अंक लाई है। वही लवी कुमारी ने बताया कि धन्य हूं कि मैं इस गांव में जन्म ली हूं, जहां मुझे प्रकृति के सानिध्य में रहने को मिल रहा है। बहुत अच्छा लगता है और अपने आप को गौरवान्वित भी महसूूूस करती हैै, क्योंकि जब उनकी उम्र 2 वर्ष की थी तब उनके नाम से मुख्यमंत्री जी ने फलदार वृक्ष लगाए थे।

साथ ही उन्होंने बताया कि फलदार वृक्ष सिर्फ जन्म दिवस के साथ-साथ कोई भी अवसर मिले, सभी को वृक्ष लगाना चाहिए। क्योंकि अगर वृक्ष नहीं लगाएंगे, ऑक्सीजन की कमी हो जाएगी। वही ग्रामीणों ने बताया कि पहले तीन बार मुख्यमंत्री और आला अधिकारी पर्यावरण दिवस पर आए, लेकिन अब कई वर्षों से पर्यावरण दिवस पर कोई पदाधिकारी नहीं आ रहे हैं। अगर आकर यहां पर वृक्ष लगाते तो हम लोगों का अधिक उत्साहवर्धन होता।