Deoghar: बच्चे ने मरने से इनकार किया, मां-बहन की जान बची, गेटमैन ने भी हादसा टालने में मदद की; जानिए क्या है मामला.......


देवघर

बैद्यनाथधाम-जसीडीह रेल लाइन स्थित पुरनधा रेल फाटक के पास बुधवार को एक बड़ा हादसा टल गया. दो बच्चों को लेकर जब महिला और बच्चा मरने के लिए ट्रैक पर पहुंचे तो छह साल के बेटे शुभम की जान बाल-बाल बच गई। बच्चा पटरी पर सोने के बजाय मां बिंदु देवी और बहन शिवानी कुमारी (7 वर्ष) के साथ गेटमैन जगदीश मंडल के पास भाग गया. सिसकते हुए उसने गेटमैन से कहा कि मैं पटरी पर न सोऊं, ट्रेन आ रही है। गेटमैन ने मौके की नजाकत देखकर बच्चे को अपने पास रोक लिया।

बेटे को दूर खड़ा देख महिला और उसकी बेटी भी ट्रैक से उठ गई और बेटे को पास बुलाने लगी तो गेटमैन तुरंत महिला के पास पहुंचा और महिला व उसकी बेटी को समझा-बुझाकर ट्रैक से हट जाने को कहा. इस बीच वह अपनी बातों में उलझता रहा। तब तक बैद्यनाथधाम स्टेशन से रवाना होकर पैसेंजर ट्रेन सत्संग नगर हाल्ट होते हुए जसीडीह के लिए रवाना हुई. कुछ देर के लिए खतरा टला देख गेटमैन ने आसपास के लोगों को मामले की जानकारी दी।

बताई महिला की पूरी कहानी 

इस बीच जब महिला से उसके घर का पता पूछा गया तो उसने रोते हुए पूरी कहानी बता दी। बताया कि उसके पति का नाम संजय यादव है, बिंदू की ससुराल दुमका जिले के सरैयाहाट थाना क्षेत्र की रौशनियां हैं, जबकि उसके मामा जमुई जिले के चंद्रमंडीह थाना क्षेत्र के बसबुतिया गांव में रहते हैं. पति एक पिक-अप वैन चालक है और देवघर में एक वाहन मालिक का वाहन चलाता है। पति से हमेशा विवाद होता रहता है। घटना के कुछ घंटे पहले ही वह सुबह बच्चों को लेकर पति से मिलने देवघर पहुंची। पति से मुलाकात हुई तो पति ने पत्नी और बच्चों को घर लौटने को कहा और अपने लोडेड वाहन को लेकर बांका और भागलपुर के लिए रवाना हो गया. इससे महिला भड़क गई और रोते हुए पुरनदाहा रेलवे फाटक के पास पहुंच गई।

महिला थाने को सौंप दिया 

घटना की जानकारी होने पर गेट के आसपास रहने वाले लोग जुट गए। उनमें से एक सामाजिक कार्यकर्ता टुनटुन ने मामले की जानकारी नगर थाना प्रभारी कुमार अभिषेक को दी. थाना प्रभारी ने पीसीआर पेट्रोलिंग पार्टी भेजकर महिला व उसके बच्चे को थाने बुलाया। बाद में उसे महिला थाने को सौंपकर उसकी काउंसिलिंग करने की सलाह दी गई। घटना बुधवार सुबह उस समय हुई जब लोकल ट्रेन बैद्यनाथधाम स्टेशन से जसीडीह के लिए रवाना होने वाली थी.

महिला ने कहा- प्रताड़ित करता है पति

महिला ने बताया कि उसका पति संजय यादव हमेशा उसके साथ मारपीट करता था। वह दोनों बच्चों के खाने और पढ़ाई का खर्च भी नहीं उठाता, जबकि पति पिक-अप वैन चलाने का काम करता है। कहा कि पति के प्रताड़ना से तंग आकर वह आत्महत्या करने आई थी।

गेटमैन ने घटना की जानकारी दी 

गेटमैन जगदीश मंडल ने बताया कि महिला दोनों बच्चों को अपनी साड़ी के पल्लू में बांधकर रेलवे ट्रैक पर सोना चाहती थी. इसी दौरान उसका एक बच्चा दौड़कर उसे पकड़ लिया और कहा कि वह ट्रैक पर नहीं सोना चाहता, लेकिन मां उसे जबरन ट्रैक पर सोने के लिए कह रही है. गेटमैन दौड़कर ट्रैक पर गया और महिला को डांट-फटकार कर वहां से हटा दिया।

महिला थाने में महिला की काउंसिलिंग 

पीसीआर नगर थाने के कहने पर महिला बिंदु देवी और अपने दो बच्चों को लेकर थाने पहुंची। जहां महिला से पति का फोन नंबर व मामा का फोन नंबर लेकर दोनों पक्षों को घटना की जानकारी देकर पूछताछ की गई। बाद में महिलाओं व बच्चों को खाना खिलाने के बाद घंटों समझाइश के बाद शांत किया। महिला पुलिसकर्मी ने भी उसकी आर्थिक मदद की।